"I'm Ready To Be A Part Of This New Normal"- रितुपर्णा सेनगुप्ता
बंगाली सिनेमा की शान और पहचान हैं रितुपर्णा सेनगुप्ता! हिंदी फिल्मों में भी समय-समय पर उनकी मजबूत दस्तक रही है. उनकी 'मैं मेरी पत्नी और वो' फिल्म आपको याद ही होगी. लगभग तीन दशकों से अभिनय में सक्रिय रितुपर्णा फिल्मफेयर व राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार सहित कई पुरस्कारों से सम्मानित हैं. फिलहाल वह अपने पति और दो बच्चों के साथ सिंगापुर में हैं. लेकिन उनका गृह प्रदेश बंगाल और शहर कोलकाता अम्फान तूफ़ान के गंभीर हमले से उबरने में जुटा है. समाजसेवा हेतु हमेशा तत्पर रहने वाली रितुपर्णा दुखी हैं. वह तमाम एनजीओ के साथ मिलकर धन इकठ्ठा करने में जुटी हैं ताकि अपनों की सहायता कर सकें। रितुपर्णा धैर्य के साथ कोरोना वायरस के कहर का असर कम होने की प्रतीक्षा कर रही हैं. जैसे ही ज़िन्दगी वापस रफ़्तार पकड़ेगी और कोलकाता में लाइट-कैमरा-एक्शन की आवाज़ जल्द से जल्द गूंजे, इसके लिए वह हर संभव प्रयास करेंगी. #रघुवार्ता में इस बार बातचीत रितुपर्णा सेनगुप्ता से...
कोरोना महामारी के बाद बंगाल पर अम्फान तूफ़ान के रूप में एक और मुसीबत आन पड़ी. आप अपने शहर से दूर इस समय सिंगापुर में हैं. उनके बीच न होने का दुःख हो रहा है? #रघुवार्ता
यह सवाल पूछने के लिए बहुत धन्यवाद रघु. मैं बहुत परेशान हूँ, दुखी हूँ बहुत. कोलकाता मेरी माँ समान है. माँ को बहुत चोट पहुंची है. हम अलग-अलग एनजीओ के साथ मिलकर कई कैम्पेन्स चला रहे हैं और धन इकठ्ठा करने का प्रयास कर हैं ताकि हमारा शहर वापस अपने पैरों पर खड़ा हो सके और दौड़ सके.
फैमिली के बीच होने के बावजूद आप लगातार कोरोना और अम्फान के राहत कार्य में लगी हैं. कैसे मैनेज कर रही हैं बच्चे और यह जिम्मेदारी? वो शिकायत नहीं करते कि जब दुनिया ठहरी है, तब भी आप काम में व्यस्त हैं? #रघुवार्ता
फैमिली अपनी जगह है और कर्तव्य अपनी जगह. हम अपने देश को अपना परिवार मानते हैं. सिंगापुर में अपने परिवार के साथ मैं खुश ज़रूर हूँ लेकिन मैं अपना कर्तव्य भूल नहीं सकती. मैं व्यस्त ज़रूर हूँ, लेकिन इतना भी नहीं कि अपनी ज़िम्मेदारियाँ भूल जाऊं।
इस लॉकडाउन की सबसे दुखद तस्वीर कौन-सी होगी, जिसे आप पूरे जीवन में नहीं भूल पाएंगी? #रघुवार्ता
बहुत सारे लोग कोसों पैदल ही अपने गाँव के लिए चल पड़े, थके-हारे रास्ते में भूखे पेट सो गए. एक बारह साल की बच्ची की तस्वीर देखकर मैं रो पड़ी. उसकी माँ उसे पांच सूखे चने खिला रही थी.
लॉकडाउन की वजह से आपकी कितनी फिल्मों की शूटिंग प्रभावित हुई है? क्या इस समय आप फिल्मों से जुड़ा कोई काम कर पा रही हैं? क्या कुछ नया सीखने की योजना है? #रघुवार्ता
इस लॉकडाउन की वजह से मेरी एक बहुत इम्पॉर्टेंट फिल्म पार्सल रुक गयी. रिलीज़ के तीसरे ही दिन मेरी यह फिल्म बंद हो गयी. बहुत दिक्कत हुई. अभी मेरी कई सारी फिल्में फ्लोर पर हैं और कुछ रिलीज़ पर... कुछ अवेयरनेस फिल्में कर रही हूँ... Motivational shorts for the Singapore migrant workers as well.
तीन साल के बाद आप बांसुरी फिल्म से हिंदी फिल्मों में लौट रही हैं. अनुराग कश्यप आपके को-स्टार हैं. उनके साथ काम करने का कैसा अनुभव रहा? #रघुवार्ता
He is a great co-star, fabulous actor and a prolific writer... Our director Hari Viswanathan handled the subject Bansuri with deep sensitivity. हमें बहुत उम्मीद है इस फिल्म से. मुझे लगता है इस फिल्म को लोग ज़रूर पसंद करेंगे, जैसे उन्होंने मैं मेरी पत्नी और वो को किया था.
हिंदी फिल्मों के साथ आप लुका-छिपी क्यों खेलती हैं? क्या बंगाली फिल्मों में व्यस्तता के कारण आपकी उपस्थिति हिंदी फिल्मों में कम रहती है? #रघुवार्ता
बेहतरीन सवाल रघु...really difficult to answer. मुझे हिंदी फिल्मों से बेपनाह मुहब्बत है. मैं चाहती हूँ कि वे भी मुझे उतना ही प्यार करें। बिज़ी मैं ज़रूर हूँ लेकिन किसी बहुत अच्छे ऑफर के लिए मैं हमेशा तैयार हूँ. I want to explore... waiting for best!
आपकी फिल्म बांसुरी एक डिजिटल प्लैटफॉर्म पर रिलीज़ होने जा रही है. क्या अब ओटीटी प्लैटफॉर्म्स ही दर्शकों का नया थियेटर होगा? क्या सिनेमाहॉल्स का भविष्य खतरे में है? #रघुवार्ता
As of now it's not final about the OTT for Bansuri... But one potential option is OTT... Cinema halls have always reigned... nothing can supersede a theatrical watch... लेकिन आज परिस्थिति बहुत गंभीर है... strong speculations are going on.
आपकी ब्लॉकबस्टर बंगाली फिल्म 'प्राक्तन' और 'राजकहिनी' का रीमेक हिंदी में भट्ट कैम्प ने 'जलेबी' और 'बेगमजान' के नाम से किया था. दोनों फिल्मों को अच्छा रिस्पॉन्स नहीं मिला. आपके हिसाब से क्या वजह हो सकती है? क्या आप अपनी फिल्मों के रीमेक के पक्ष में हैं? #रघुवार्ता
पक्ष-विपक्ष की बात नहीं है. यह समझ की बात है. कौन कितने बेहतरीन तरीके से रीमेक कर सकता है. The question and the promise lies there... both the films had tremendous potential... We gave our extreme hard work to both the films.
आपकी और प्रोसेनजीत चैटर्जी की जोड़ी को टॉलीवुड में काजोल और शाहरुख़ खान की जोड़ी कहा जाता है. इस कॉम्प्लिमेंट पर आपका क्या कहना है? आप दोनों की जोड़ी स्क्रीन पर इतना कम क्यों नज़र आती है? #रघुवार्ता
Thanks for the compliment... SRK & Kajol both are my favourites... To answer your question I would say less is more... स्क्रीन पर हम जितना कम नज़र आएंगे, उतना ही ज़्यादा लोग हमें देखना चाहेंगे। We wait for the best scripts to come !!
प्रोसेनजीत चैटर्जी के साथ प्राक्तन फिल्म के प्रीमियर पर
कोरोना महामारी ने देश की अर्थव्यवस्था तोड़ दी है. इसका असर बंगाली फिल्म इंडस्ट्री पर भी होगा. फिल्म निर्माण की गति धीमी होगी. संभव है स्टार्स की फीस में कटौती हो. क्या आप इसके लिए तैयार हैं? #रघुवार्ता
Abhi we have to be prepared for the worst... Best will definitely come after the worst... I'm optimistic... A new normal would come... और हमें उसे स्वीकार करना होगा।इंटेंसिटी क्या होगी, पता नहीं. But few things will change, not only films but every industry!! I think lot of changes would be needed to be embraced... pay cuts, less people for social distancing. May be और बहुत कुछ... and I'm ready to be a part of this new normal!!
निराशा और नाउम्मीद की इस घड़ी में आशा की किरण क्या हो सकती है? #रघुवार्ता
निराशा में एक शब्द आशा भी है और आशा ज़िन्दगी से हमेशा जुड़ी होती है. We should never lose hope... हम उम्मीद से जीते हैं. हमें पॉज़िटिव रहना चाहिए. We will definitely sail through this...God is kind...Let us pray together for a better tomorrow.